न्यूज 11 भारत / सरफराज कुरैशी
रांचीः मांडर उपचुनाव के मतदान में चार दिन शेष हैं. जिला प्रशासन की ओर से चुनाव की तैयारियां अंतिम चरण में है. इस बार मतदान के दिन जो चुनाव में जो सबसे अलग चीज नजर आएगी वो है ''पर्दानशीं बूथ''. इस बार मांडर विस. क्षेत्र के 433 बूथ (4 सहायक बूथ सहित) में से 38 बूथ को ''पर्दानशीं बूथ'' के रूप में चिह्नित किया गया है. दरअसल, भारत निर्वाचन आयोग ने इस वर्ष यूपी विस. चुनाव में इस नए कांसेप्ट को लाया है. इसके तहत वैसे पोलिंग बूथ जहां मुस्लिम महिला मतदाताओं की संख्या ज्यादा है उसे '' पर्दानशीं बूथ'' के रूप में घोषित किया गया है. यहां पोलिंग पार्टियों के साथ एक अतिरिक्त महिला कर्मचारी की भी ड्यूटी लगाई जाएगी. अगर कोई पोलिंग एजेंट पर्दानशीं मतदाता को लेकर आशंका जताता है तो वहां तैनात महिला कर्मचारी उसके वोटर कार्ड या अन्य दस्तावेज से उसके चेहरे की मिलान करेगी. लेकिन कोई पोलिंग एजेंट मतदान को प्रभावित करने की नियत से बार-बार आपत्ति जताए और उसकी शिकायत सही नहीं पाई जाती है तो पीठासीन अधिकारी उसके खिलाफ कार्रवाई कर सकते हैं. ऐसे एजेंट की सूचना सेक्टर, जोनल मजिस्ट्रेट से लेकर संबंधित विधानसभा के निर्वाची पदाधिकारी व कलेक्ट्रेट में स्थित कंट्रोल रूम को दी जाएगी. इसके बाद पोलिंग एजेंट के खिलाफ तत्काल प्रभाव से कार्रवाई होगी.
239 बूथ पर रहेगी ऑनलाइन नजर
मांडर विस. उपचुनाव के दौरान 433 में से 239 बूथ पर तीसरी आंख की निगेहबानी रहेगी. इतना ही नहीं ये सभी बूथ पूरी तरह से ऑनलाइन रहेंगे. पोलिंग टीम से लेकर अन्य व्यक्तियों की पूरी गतिविधियों पर कंट्रोल रूप से नजर रखी जा सकेगी. दरअसल इस बार मांडर उपचुनाव में 239 बूथों से वेबकास्टिंग होगी. मतलब 55.19 प्रतिशत बूथों के अंदर जो कैमरे लगेंगे, उनमें मतदान कर्मियों के अलावा अन्य गतिविधियों को कैद करने के साथ लाइव प्रसारण भी होगा. जानकारी के अनुसार कुछ ऐसे अत्याधुनिक वेब कैमरे भी लगाए जाएंगे, जिससे देश के किसी भी हिस्से से निर्वाचन आयोग के पदाधिकारी लाइव वेबकास्ट देख सकेंगे, किसी तरह की गड़बड़ी होने पर फौरन स्थिति को संभाला जा सकेगा,
218 संवेदनील तो 141 अतिसंवेदनशील बूथ
मांडर के 433 बूथों में 218 संवेदनशील बूथ हैं. जबकि, 141 बूथों को अतिसंवेदनशील कैटगेरी में रखा गया है. वहीं, सिर्फ 74 बूथ ही ऐसे हैं जो सामान्य कैटगेरी के माने गए हैं. अतिसंवेदनशील व संवेदनशील बूथों की बड़ी संख्या को देखते हुए सुरक्षा के भी पुख्ता इंतजाम किए जाएंगे. इधर, दिव्यांग मतदाओं को बूथ तक पहुंचाने के लिए 150 वाहनों का उपयोग किया जाएगा.