मुजतबा हैदर रिजवी/न्यूज़11 भारत
जमशेदपुर/डेस्क: जमशेदपुर के बहरागोड़ा के पूर्व विधायक व भाजपा नेता कुणाल षाड़ंगी के झामुमो में जाने की चर्चा पखवारे भर से चल रही थी. लेकिन कभी कुणाल षाड़ंगी का इस पर कोई बयान नहीं आया. जब मीडिया में यह खबरें आईं कि झामुमो के कुछ वरिष्ठ नेताओं में कुणाल षाड़ंगी को झामुमो में लेने की सहमति नहीं बनी. इसके चलते कुणाल षाड़ंगी की झामुमो में जॉइनिंग टल गई है. तब पूर्व विधायक कुणाल षाड़ंगी ने फेसबुक पर अपना मुंह खोला है. उन्होंने फेसबुक पर अपना कसरत करते हुए एक वीडियो डालकर कैप्शन लिखा कि उनके झामुमो में जाने की चर्चा सही नहीं थी. उन्होंने लिखा है कि खुद ही चर्चा तैयार करो और फिर उस चर्चा को सही साबित करने के लिए एक और बात कहो.
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि उन्होंने इस संबंध में अपना मुंह खोल जरूर चर्चा पर विराम लगाया है. लेकिन उन्होंने देर कर दी है. राजनीतिक जानकारों का कहना है कि अगर कुणाल षाड़ंगी के झामुमो में जाने की चर्चा सही नहीं थी तो कुणाल को 15 दिन पहले ही इस संबंध में अपनी बात रख देनी चाहिए थी. लेकिन वह इस संबंध में चुप्पी साधे रहे. गुरुवार को भी सुबह से चर्चा थी कि पूर्व विधायक कुणाल षाड़ंगी झामुमो में जा सकते हैं. लेकिन कुणाल षाड़ंगी ने कोई बात नहीं कही. बाद में जब मीडिया में यह खबरें आईं कि झामुमो के वरिष्ठ नेताओं में कुणाल षाड़ंगी को पार्टी में लेने की सहमति नहीं बनी है. तब कुणाल षाड़ंगी ने फेसबुक पर अपनी बात कही है.
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि इस पूरे मामले में पूर्व विधायक कुणाल षाड़ंगी चूक गए. लेकिन राजनीतिक ऊंट कब करवट ले ले. यह कहा नहीं जा सकता. जिले में चर्चा है की कुणाल षाड़ंगी का नाम हटने के बाद अब झामुमो में टिकट के दावेदारों में आस्तिक महतो, सुमन महतो आदि बचे हैं.