न्यूज़11 भारत
रांची: साहिबगंज जिले के डुमरी, बरहेट, पथना, बोरियो, तालझरी प्रखंड के गावों में रहने वाले पहाड़िया जनजाति को मिलने वाली बुनियादी सुविधाओं की मांग को लेकर अधिवक्ता अनूप कुमार अग्रवाल ने सूर्य कुमार पहाड़िया की ओर से हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की है, जिसमें कहा गया है कि साहिबगंज जिले से 10 किमी के दायरे में कई गांव पहाड़ पर बसे हैं. वहां पर न तो साफ पीने की पानी की सुविधा है और न गांव तक जाने के लिए सड़क ही है. गांव वालों को 25 से 30 किलोमीटर पैदल पहाड़ से नीचे उतरना पड़ता है. यहां पर जंगल से चुनकर लाई लकड़ी को बेचकर जीवनयापन होता है. रोजाना की पारिवारिक आय 55 रुपये है, जो कि सूखी लकड़ी को बेचकर आती है. गांव वालों को राशन लाने के लिए 25 से 30 किलोमीटर की दूरी तय करनी पड़ती है. गावों में स्कूल के आधे-अधूरे भवन बने हैं, जहां ग्रामीण मवेशी बांधते हैं. स्वास्थ्य केंद्र पूरी तरह से बंद है. अनूप ने बताया कि मनरेगा के तहत किसी को कोई रोजगार मिलता है, जबकि कई गांव वालों का जॉब कार्ड बना दिया गया है. नियमानुसार उन्हें मनरेगा से काम नहीं मिलने पर भत्ता दिया जाना चाहिए. इसके अलावा गांव वालों को किसी भी सरकारी योजनाओं का लाभ मिलता है. अदालत से उक्त गावों में आधारभूत सुविधाएं पहुंचाने की मांग की गई है, ताकि वहां के लोग भी अच्छे तरीके से अपना जीवनयापन कर सकें.