कृपा शंकर/न्यूज़11 भारत
बोकारो/डेस्क:-गुरुवार को प्रकृति का महापर्व सरहुल के अवसर पर बोकारो के विभिन्न स्थलों पर आदिवासी समुदाय के लोगों में जबरदस्त उत्साह का माहौल दिखा. महिलाएं व पुरुष अपने पारंपरिक परिधान पहने जाहेर स्थल पहुंचे. विधिवत अपने इष्टदेव की पूजा अर्चना की. वहीं प्रकृति की रक्षा का संकल्प लिया. इसके साथ ही पारंपरिक वाद्य यंत्र ढोल, नगाड़ा, मांदर की थाप पर लोकगीतों पर समूह में सांस्कृतिक नृत्य प्रारंभ हुआ. बोकारो आसपास के गांव-कस्बों से भारी संख्या में आदिवासी समुदाय के लोग लोकगीतों के माध्यम से खुशहाली बिखेरते हुए, जुलूस की शक्ल में नया मोड़ पहुंचे. खुशी, प्रेम और भाईचारे का संदेश देते अपने नववर्ष का स्वागत किया. हर ओर हरियाली के बीच नववर्ष आगमन के मौके पर मनाया जा रहा सरहुल महोत्सव के बीच धनबाद लोकसभा से एनडीए प्रत्याशी सह बाघमारा विधायक ढुल्लू महतो पहुंचे. सरहुल महोत्सव पर सभी बधाई
कहा कि आदिवासी समुदाय प्रकृति के पूजक ही नहीं रक्षक भी है. वहीं, सरना समिति सेक्टर 8 ए के संजू सामनता, पवन कुमार उरांव ने कहा कि नव वर्ष में प्रकृति खूबसूरत फूलों, हरी पत्तियों के साथ मनमोहन श्रृंगार कर दुल्हन की तरह सजी रहती है. हम सभी प्रकृति के उपासक हैं. इस दिन शाल वृक्ष की पूजा अर्चना शाल पुष्प से की जाती है.