रांची : झारखंड से राज्यसभा चुनाव के लिए प्रदेश अध्यक्ष दीपक प्रकाश को उम्मीदवार बनाय गया है. उनके नाम पर मुहर लगते ही पूर्व मुख्यमंत्री रघुवर दास टिकट की दौड़ से बाहर हो गये. इसका एक महत्वपूर्ण कारण आजसू को माना जा रहा है. क्योंकि चुनाव में जीत हासिल करने के लिए आजसू के सहयोग को महत्वपूर्ण मानते हुए भाजपा केंद्रीय नेतृत्व ने दीपक प्रकाश का चयन किया. आजसू प्रमुख सुदेश महतो और रघुवर दास के बीच के छत्तीस के आंकड़े को देखते हुए भाजपा कोई रिस्क नहीं लेना चाहती. आजसू पार्टी की ओर से यह कहा गया था कि भाजपा उम्मीदवार को देखने के बाद ही पार्टी राज्यसभा चुनाव में समर्थन देने पर निर्णय लेगी.
झारखंड में राज्यसभा की दो सीटों पर 26 मार्च को चुनाव होना है. ये दोनों सीटें राजद के प्रेम गुप्ता और निर्दलीय परिमल नथवाणी का कार्यकाल समाप्त होने के खाली हो रही हैं. दोनों का कार्यकाल 9 अप्रैल को पूरा हो रहा है.
झामुमो के अधिकृत प्रत्याशी शिबू सोरेन की जीत तय मानी जा रही है. वहीं यूपीए ने दूसरी सीट से भी उम्मीदवार देने का निर्णय लिया है. जबकि भाजपा ने दीपक प्रकाश को उम्मीदवार बनाये जाने की घोषणा कर दी है.
यूपीए के दूसरे प्रत्याशी उम्मीदवार के लिए तीन-चार विधायकों की जरूरत होगी. वहीं भाजपा उम्मीदवार को भी आजसू पार्टी के अलावा दो निर्दलीय विधायकों के समर्थन की जरूरत होगी.
बता दें कि भाजपा के 25 विधायक हैं और बाबूलाल मरांडी के पार्टी में शामिल होने के कारण यह संख्या बढ़ कर 26 हो गयी है. फिलहाल आजसू पार्टी के अलावा दोनों निर्दलीय विधायकों ने अपना पत्ता नहीं खोला है. हालांकि राकांपा विधायक कमलेश कुमार सिंह का दीपक प्रकाश से पुराना व्यक्तिगत संबंध है, इस कारण यूपीए में शामिल राकांपा का समर्थन दीपक प्रकाश को मिल सकता है.