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रिश्ता वही सोच नईः 60% शादियों के लिए लाइव टेलीकास्ट के ऑर्डर, कार्ड में छापे जा रहे लिंक

रिश्ता वही सोच नईः 60% शादियों के लिए लाइव टेलीकास्ट के ऑर्डर, कार्ड में छापे जा रहे लिंक

कोरोना काल में शादियों का ट्रेंड तो बदला ही है, मेहमानों की सीमित संख्या की सरकारी गाइडलाइन के चलते नवाचार भी होने लगे हैं. 50, 100 या 200 मेहमान बुलाने की विभिन्न शहरों की बाध्यता के कारण मेजबान नए सिरे से योजना बना रहे हैं. सभी मेहमानों को एक साथ नहीं बुलाकर अलग-अलग दिन विभिन्न रस्मों के लिए न्योता दिया जा रहा है.


 

इसके लिए बाकायदा कार्ड भी अलग-अलग छपवाए जा रहे हैं. इनमें बंदोली, बारात और प्रीतिभोज के लिए अलग-अलग न्योते हैं, ताकि सबकी उपस्थिति अलग-अलग कार्यक्रमों में ही सही, लेकिन विवाह समारोह में हो जाए. सबसे बड़ा नवाचार शादी का लाइव टेलीकास्ट किया जाना है. जो रिश्तेदार या परिचित ब्याह में शामिल नहीं हो पा रहे हैं, उनके लिए आयोजन का लाइव प्रसारण करवाया जा रहा है, ताकि वे घर बैठे आयोजन का आनंद उठा सकें. इसके लिए कार्ड पर लाइव शादी का लिंक दिया जा रहा है. साथ ही कहा जा रहा है कि पासवर्ड शादी के लिए बनाए विशेष वॉट्सएप ग्रुप पर भेजा जाएगा.

 

वेडिंग प्लानर बताते हैं कि कोरोना के चलते शादियों में भले मेहमानों की संख्या सीमित की गई हो, लेकिन इसे किस तरह खुशनुमा बनाया जाए, इसी सोंच के साथ नए आइडिए ईजाद किए जा रहे हैं. इन्हीं में से एक लाइव स्ट्रीमिंग है. शादियों के सीजन में 50%-60% लोग इसकी मांग कर रहे हैं. जो लोग स्थानीय स्तर पर शादी कर रहे हैं, वे रिश्तेदारों के लिए खाने के पैकेट घर पहुंचाने की भी मांग कर रहे हैं.

बदलता ट्रेंड: 60% शादियों के लिए लाइव टेलीकास्ट के ऑर्डर

 

सिनेमेटोग्राफर कमलेश सोनगरा ने बताया कि लाइव स्ट्रीमिंग डिवाइस से कैमरा जोड़कर शादी का लाइव प्रसारण होता है. लिंक व पासवर्ड पार्टी को दिया जाता है. 60% शादी में ऐसे ऑर्डर आ रहे हैं. ऐसा बदलाव पहली बार है. इस बार एक ही शादी में दो-तीन तरह के कार्ड छपवाए जा रहे हैं. उनमें आयोजन भी अलग-अलग लिख रहे हैं. टैग अलग से बन रहे हैं, जिसमें प्रीतिभोज की थाली का भी जिक्र है. केटरिंग का काम करने वाले सोहन सिंह ने बताया कि घरों तक भोजन पैकेट भेजने की परंपरा कोरोना काल में शुरू हुई है. कैटरिंग के पैकेज के साथ घर-घर खाना पहुंचाने की जिम्मेदारी भी दी जा रही है.
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